एक-दो दिन नहीं बल्कि लगातार 15 से 20 दिनों तक सिलीगुड़ी शहर पेयजल संकट से जूझने वाला है. ऐसा ही संदेश सिलीगुड़ी के मेयर गौतम देव ने पहले भी दिया. संयोगवश, कुछ दिन पहले सिक्किम में तीस्ता नदी का बांध टूटने से हुई भयानक प्राकृतिक आपदा अभी भी लोगों के जेहन में है, हालांकि स्थिति कुछ हद तक सामान्य है, लेकिन उत्तर बंगाल में तीस्ता बांध अभी भी क्षतिग्रस्त हैं। आने वाले मानसून के दौरान तीस्ता का रास्ता कभी भी बदल सकता है और दोबारा तबाही मच सकती है. इसलिए पीएचइ विभाग ने मानसून से पहले तीस्ता बांध की मरम्मत के बारे में सोचना शुरू कर दिया. और उसके कारण सिलीगुड़ी शहर जल संकट से जूझने वाला है. ग़ज़लडोबा तीस्ता नहर के बांध की मरम्मत का काम 10 मई से शुरू होगा, तब तीस्ता जल आपूर्ति बंद कर दी जाएगी। तब लोगों को पीने के पानी के लिए महानंदा नदी पर निर्भर रहना पड़ेगा. दुसरी ओर मेयर गौतम देव ने जल संकट को लेकर आज सिंचाई विभाग, पीएचई और नगर निगम के जल विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक की जिससे शहरवासियों को पानी की समस्या से कैसे निजात दिलाई जाये. बैठक के बाद उन्होंने कहा कि 10 तारीख से सिलीगुड़ी शहर में पानी की कमी हो जायेगी. हालांकि महानंदा नदी के पानी से पेयजल की समस्या को दूर करने का प्रयास किया गया है, विभिन्न वार्डों में आपातकालीन पानी पाउच पैकेट के अलावा अतिरिक्त पानी टंकी उपलब्ध करायी जायेगी.